गर्मियों में सत्तू पीने के फायदे और रेसिपी- स्वास्थ्य और ताजगी का खजाना

गर्मियों में सत्तू पीने के फायदे और रेसिपी- स्वास्थ्य और ताजगी का खजाना

एक मिट्टी के गिलास में ठंडा सत्तू शरबत पुदीने की पत्तियों और नींबू के टुकड़े के साथ

मिट्टी के गिलास में ठंडा सत्तू शरबत, पुदीने और नींबू के साथ - गर्मियों में ताजगी का स्रोत।

सत्तू क्या है और इसका इतिहास

सत्तू एक पारंपरिक भारतीय खाद्य पदार्थ है, जो मुख्य रूप से भुने हुए चने, जौ, मक्का, या इनके मिश्रण को पीसकर तैयार किया जाता है। यह उत्तर भारत, खासकर बिहार, उत्तर प्रदेश, झारखंड और पश्चिम बंगाल में बहुत लोकप्रिय है। सत्तू को पानी या दूध के साथ मिलाकर एक पेय के रूप में या आटे के रूप में विभिन्न व्यंजनों में इस्तेमाल किया जाता है। यह गर्मियों में शरीर को ठंडक और ऊर्जा प्रदान करने के लिए जाना जाता है।

एक थाली में सत्तू का पाउडर, भुने चने, और जौ के साथ

 सत्तू बनाने के लिए भुने चने और जौ - एक प्राकृतिक और पौष्टिक खाद्य पदार्थ।

सत्तू का इतिहास बहुत पुराना है। प्राचीन काल से ही भारत में सत्तू का उपयोग एक सस्ते और पौष्टिक भोजन के रूप में किया जाता रहा है। इसे अक्सर "गरीबों का प्रोटीन" कहा जाता है, क्योंकि यह आसानी से उपलब्ध, किफायती, और पोषक तत्वों से भरपूर होता है। सत्तू में प्रोटीन, फाइबर, आयरन, मैग्नीशियम, और कई विटामिन्स पाए जाते हैं, जो इसे एक सुपरफूड बनाते हैं।

सत्तू बनाने की प्रक्रिया भी काफी सरल है। सबसे पहले चने, जौ, मक्का, या अन्य अनाज को भूना जाता है, फिर इसे ठंडा करके बारीक पीस लिया जाता है। कुछ लोग इसमें मूंगफली या गेहूं जैसे अन्य अनाज भी मिलाते हैं, ताकि इसका पोषण मूल्य और स्वाद बढ़ सके। सत्तू को सूखा रखा जाता है और जरूरत पड़ने पर पानी, दूध, या अन्य सामग्री के साथ मिलाकर तुरंत इस्तेमाल किया जाता है।

सत्तू के प्रकार

सत्तू विभिन्न अनाजों से बनाया जाता है, और हर प्रकार के सत्तू के अपने अनूठे फायदे और स्वाद होते हैं। यहाँ कुछ मुख्य प्रकारों पर विस्तार से जानकारी दी गई है:

1. जौ का सत्तू

जौ का सत्तू भुने हुए जौ को पीसकर बनाया जाता है। जौ एक बहुत ही पौष्टिक अनाज है, जो फाइबर, विटामिन्स, और मिनरल्स से भरपूर होता है। जौ का सत्तू गर्मियों में खास तौर पर फायदेमंद है, क्योंकि यह शरीर को ठंडक देता है और पाचन को बेहतर बनाता है।

जौ के सत्तू में फाइबर की मात्रा अधिक होती है, जो कब्ज और अपच जैसी समस्याओं को दूर करने में मदद करता है। यह कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित करने और हृदय स्वास्थ्य को बेहतर बनाने में भी सहायक है। जौ का सत्तू हल्का होता है और इसे पानी या दूध के साथ मिलाकर एक ताज़गी भरा पेय बनाया जा सकता है।

जौ के सत्तू का उपयोग आमतौर पर शरबत बनाने में किया जाता है। इसे नमक, नींबू, और भुना जीरा पाउडर के साथ मिलाकर पीने से गर्मी में राहत मिलती है। इसके अलावा, जौ का सत्तू उन लोगों के लिए भी फायदेमंद है जो वजन कम करना चाहते हैं, क्योंकि यह लंबे समय तक पेट को भरा हुआ रखता है।

2. मक्का का सत्तू

मक्का का सत्तू भुने हुए मक्के (मकई) को पीसकर तैयार किया जाता है। मक्का का सत्तू स्वाद में हल्का मीठा और पौष्टिक होता है। यह कार्बोहाइड्रेट का एक अच्छा स्रोत है, जो शरीर को तुरंत ऊर्जा प्रदान करता है। गर्मियों में जब शरीर को हल्के और ऊर्जा देने वाले भोजन की जरूरत होती है, मक्का का सत्तू एक बढ़िया विकल्प है।

मक्का के सत्तू में एंटीऑक्सीडेंट्स, जैसे कि विटामिन ई और बीटा-कैरोटीन, होते हैं, जो स्किन और बालों के लिए फायदेमंद हैं। यह पाचन को बेहतर बनाता है और शरीर को डिटॉक्स करने में मदद करता है। मक्का का सत्तू उन लोगों के लिए भी अच्छा है जो ग्लूटेन-फ्री डाइट फॉलो करते हैं, क्योंकि मक्का में ग्लूटेन नहीं होता।

मक्का के सत्तू को मीठे ड्रिंक के रूप में तैयार किया जा सकता है। इसे दूध, गुड़, और इलायची पाउडर के साथ मिलाकर एक स्वादिष्ट पेय बनाया जा सकता है। इसके अलावा, मक्का के सत्तू का उपयोग पराठा या रोटी बनाने में भी किया जा सकता है।

3. बिजड़े का सत्तू (चना और जौ का मिश्रण)

बिजड़ा सत्तू चने और जौ के मिश्रण से बनाया जाता है। यह सबसे आम और पारंपरिक प्रकार का सत्तू है, जो बिहार और उत्तर प्रदेश में बहुत लोकप्रिय है। चने और जौ को एक साथ भूनकर पीस लिया जाता है, जिससे यह सत्तू प्रोटीन और फाइबर का एक संतुलित स्रोत बन जाता है।

बिजड़े के सत्तू में चने से प्रोटीन और जौ से फाइबर मिलता है, जो इसे एक संपूर्ण आहार बनाता है। यह शरीर को ठंडक देता है, पाचन को बेहतर बनाता है, और लंबे समय तक ऊर्जा प्रदान करता है। यह उन लोगों के लिए खास तौर पर फायदेमंद है जो शारीरिक श्रम करते हैं, क्योंकि यह मांसपेशियों को पोषण देता है और थकान को कम करता है।

बिजड़े का सत्तू बहुमुखी होता है और इसे कई तरह से इस्तेमाल किया जा सकता है। इसे नमकीन शरबत, मीठा ड्रिंक, पराठा, लिट्टी, या खीर बनाने में उपयोग किया जा सकता है। इसका स्वाद संतुलित होता है, जो नमकीन और मीठे दोनों तरह के व्यंजनों के लिए उपयुक्त है।

गर्मियों में सत्तू क्यों है खास?

गर्मी का मौसम शरीर के लिए काफी चुनौतीपूर्ण हो सकता है। तेज धूप और बढ़ता तापमान शरीर को निर्जलित कर सकते हैं, जिससे थकान, कमजोरी, और लू (हीटस्ट्रोक) जैसी समस्याएं हो सकती हैं। ऐसे में सत्तू एक प्राकृतिक और प्रभावी समाधान है, जो शरीर को ठंडक, हाइड्रेशन, और ऊर्जा प्रदान करता है। आइए, गर्मियों में सत्तू पीने के प्रमुख फायदों को विस्तार से समझते हैं:

गर्मी में एक परिवार सत्तू शरबत पीते हुए, पेड़ की छांव में बैठकर

गर्मी के दिनों में एक परिवार पेड़ की छांव में सत्तू शरबत का आनंद लेते हुए।

1. शरीर को ठंडक और राहत प्रदान करता है

सत्तू की तासीर ठंडी होती है, जो गर्मियों में शरीर के तापमान को संतुलित करने में मदद करती है। जब बाहर का तापमान 40 डिग्री सेल्सियस या उससे अधिक हो जाता है, तो शरीर को ठंडक की जरूरत होती है। सत्तू का पेय पीने से शरीर का तापमान कम होता है, जिससे लू लगने का खतरा कम हो जाता है।

सत्तू में पानी की मात्रा अधिक होती है, खासकर जब इसे पानी के साथ मिलाकर बनाया जाता है। यह पसीने के कारण खोए हुए इलेक्ट्रोलाइट्स, जैसे सोडियम और पोटैशियम, को भी भरने में मदद करता है। गर्मी में जब आप बाहर से घर आते हैं और थके हुए होते हैं, तो एक गिलास ठंडा सत्तू शरबत पीने से तुरंत राहत मिलती है।

इसके अलावा, सत्तू में प्राकृतिक रूप से ठंडक देने वाले गुण होते हैं। यह शरीर के अंदरूनी हिस्सों को शांत करता है और गर्मी के कारण होने वाली जलन या बेचैनी को कम करता है।

2. हाइड्रेशन का प्राकृतिक स्रोत

गर्मियों में पसीने के कारण शरीर से पानी और आवश्यक नमक की कमी हो जाती है, जिसे निर्जलीकरण (डिहाइड्रेशन) कहते हैं। निर्जलीकरण के लक्षणों में सिरदर्द, चक्कर आना, कमजोरी, और मुंह सूखना शामिल हैं। सत्तू का पेय एक प्राकृतिक हाइड्रेटिंग ड्रिंक की तरह काम करता है।

जब सत्तू को पानी में मिलाकर बनाया जाता है और उसमें थोड़ा नमक, नींबू का रस, और भुना जीरा पाउडर डाला जाता है, तो यह एक प्राकृतिक इलेक्ट्रोलाइट ड्रिंक बन जाता है। यह ड्रिंक शरीर में पानी की कमी को पूरा करता है और इलेक्ट्रोलाइट्स को संतुलित करता है। यह बाजार में उपलब्ध कृत्रिम एनर्जी ड्रिंक्स का एक स्वस्थ और सस्ता विकल्प है।

सत्तू का पेय हल्का होता है और इसे पीने से पेट पर बोझ नहीं पड़ता। यह उन लोगों के लिए भी फायदेमंद है जो गर्मी में भारी भोजन नहीं खाना चाहते, लेकिन शरीर को हाइड्रेटेड रखना चाहते हैं।

3. तुरंत ऊर्जा प्रदान करता है

सत्तू में कार्बोहाइड्रेट और प्रोटीन की अच्छी मात्रा होती है, जो शरीर को तुरंत ऊर्जा देती है। गर्मियों में अक्सर भूख कम लगती है, और लोग हल्का भोजन पसंद करते हैं। ऐसे में सत्तू का पेय एक आदर्श विकल्प है, क्योंकि यह न केवल पेट को भरे रखता है, बल्कि शरीर को तुरंत ऊर्जा भी देता है।

सत्तू में मौजूद कार्बोहाइड्रेट शरीर को जल्दी ऊर्जा देते हैं, जबकि प्रोटीन मांसपेशियों को पोषण प्रदान करता है। यह उन लोगों के लिए खास तौर पर फायदेमंद है जो शारीरिक श्रम करते हैं, जैसे मजदूर, किसान, या एथलीट। गर्मी में जब शरीर थक जाता है, तो एक गिलास सत्तू ड्रिंक पीने से तुरंत ताजगी मिलती है।

सत्तू का एक और फायदा यह है कि यह लंबे समय तक ऊर्जा प्रदान करता है। यह तेजी से पच जाता है और शरीर को स्थिर ऊर्जा देता है, जिससे आप दिनभर सक्रिय रह सकते हैं।

4. पाचन तंत्र को स्वस्थ रखता है

गर्मियों में भारी और तैलीय भोजन खाने से पाचन संबंधी समस्याएं हो सकती हैं, जैसे कब्ज, अपच, और पेट में जलन। सत्तू में फाइबर की अच्छी मात्रा होती है, जो पाचन तंत्र को स्वस्थ रखने में मदद करता है।

फाइबर मल त्याग को नियमित करता है और कब्ज की समस्या को रोकता है। इसके अलावा, सत्तू हल्का होता है और पेट पर बोझ नहीं डालता। यह पेट की जलन को कम करता है और आंतों को साफ रखता है। सत्तू का नियमित सेवन पाचन को बेहतर बनाता है और गर्मी में होने वाली पेट की समस्याओं से राहत दिलाता है।

सत्तू में प्राकृतिक प्रोबायोटिक गुण भी होते हैं, जो आंतों में अच्छे बैक्टीरिया को बढ़ावा देते हैं। यह पेट को हल्का और स्वस्थ रखता है, जिससे आप गर्मी में भी तरोताजा महसूस करते हैं।

5. वजन नियंत्रण में सहायक

अगर आप गर्मियों में वजन नियंत्रित करना चाहते हैं, तो सत्तू एक बेहतरीन विकल्प है। सत्तू में कैलोरी की मात्रा कम होती है, लेकिन यह पोषक तत्वों से भरपूर होता है। इसमें मौजूद फाइबर और प्रोटीन लंबे समय तक पेट को भरा हुआ रखते हैं, जिससे बार-बार भूख नहीं लगती।

सत्तू का पेय पीने से आप अनावश्यक स्नैकिंग से बच सकते हैं। यह उन लोगों के लिए भी फायदेमंद है जो डाइटिंग कर रहे हैं, क्योंकि यह एक कम कैलोरी वाला भोजन है। सत्तू में मौजूद प्रोटीन मेटाबॉलिज्म को बढ़ाता है, जिससे वजन कम करने में मदद मिलती है।

सत्तू को आप नाश्ते या हल्के भोजन के रूप में ले सकते हैं। यह न केवल वजन को नियंत्रित करता है, बल्कि शरीर को आवश्यक पोषण भी देता है।

6. पोषक तत्वों का भंडार

सत्तू में कई आवश्यक पोषक तत्व होते हैं, जो शरीर के लिए बहुत फायदेमंद हैं। इनमें शामिल हैं:

  • प्रोटीन: सत्तू में प्रोटीन की अच्छी मात्रा होती है, जो मांसपेशियों के निर्माण और मरम्मत में मदद करता है। यह खास तौर पर शाकाहारी लोगों के लिए प्रोटीन का एक अच्छा स्रोत है।
  • फाइबर: फाइबर पाचन को बेहतर बनाता है और कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित करने में मदद करता है।
  • आयरन: सत्तू में आयरन होता है, जो खून की कमी (एनीमिया) को रोकता है और शरीर में ऑक्सीजन की आपूर्ति को बेहतर बनाता है।
  • मैग्नीशियम: यह मांसपेशियों और नर्वस सिस्टम को स्वस्थ रखता है।
  • विटामिन्स: सत्तू में विटामिन बी कॉम्प्लेक्स होता है, जो ऊर्जा उत्पादन और तंत्रिका तंत्र के लिए जरूरी है।

इन पोषक तत्वों के कारण सत्तू एक संपूर्ण आहार है, जो गर्मियों में शरीर की सभी जरूरतों को पूरा करता है।

7. ब्लड शुगर को नियंत्रित करता है

सत्तू का ग्लाइसेमिक इंडेक्स (GI) कम होता है, जिसका मतलब है कि यह ब्लड शुगर को धीरे-धीरे बढ़ाता है। यह डायबिटीज के मरीजों के लिए एक अच्छा विकल्प हो सकता है। सत्तू में मौजूद फाइबर और प्रोटीन ब्लड शुगर को स्थिर रखने में मदद करते हैं।

हालांकि, अगर आप डायबिटीज के मरीज हैं, तो सत्तू ड्रिंक में चीनी या गुड़ की मात्रा को नियंत्रित करना जरूरी है। आप सादा सत्तू ड्रिंक बना सकते हैं और उसमें नमक और नींबू का रस डालकर स्वाद बढ़ा सकते हैं।

सत्तू का नियमित सेवन इंसुलिन संवेदनशीलता को भी बेहतर बनाता है, जिससे डायबिटीज का प्रबंधन आसान हो जाता है।

8. स्किन और बालों के लिए फायदेमंद

गर्मियों में तेज धूप और पसीने के कारण स्किन और बालों को नुकसान हो सकता है। सत्तू में मौजूद पोषक तत्व स्किन और बालों के स्वास्थ्य को बेहतर बनाते हैं। यह शरीर को डिटॉक्स करने में मदद करता है, जिससे स्किन साफ और चमकदार रहती है।

सत्तू में मौजूद आयरन और प्रोटीन बालों को मजबूत बनाते हैं और बालों के झड़ने की समस्या को कम करते हैं। इसके अलावा, सत्तू में एंटीऑक्सीडेंट गुण भी होते हैं, जो स्किन को फ्री रेडिकल्स से बचाते हैं और उम्र बढ़ने के संकेतों को कम करते हैं।

सत्तू का पेय नियमित रूप से पीने से स्किन हाइड्रेटेड रहती है, जिससे गर्मी में होने वाली स्किन की समस्याएं, जैसे मुंहासे और रैशेज, कम हो जाते हैं।

सत्तू को अपनी डाइट में कैसे शामिल करें? 

सत्तू रेसिपी 


सत्तू को अपनी डाइट में शामिल करना बहुत आसान है। यह एक बहुमुखी सामग्री है, जिसे कई तरह से इस्तेमाल किया जा सकता है। यहाँ सत्तू से बनने वाले कुछ स्वादिष्ट और पौष्टिक व्यंजनों की विस्तृत विधि दी गई है:

1. सत्तू का शरबत (नमकीन)

सत्तू का शरबत गर्मियों में सबसे लोकप्रिय पेय है। यह बनाने में आसान है और तुरंत ताजगी देता है। इसे बनाने की विधि इस प्रकार है:

सामग्री:

  • 3 बड़े चम्मच सत्तू (बिजड़े या जौ का सत्तू)
  • 1 गिलास ठंडा पानी
  • 1/2 नींबू का रस
  • 1/4 छोटा चम्मच नमक (स्वादानुसार)
  • 1/2 छोटा चम्मच भुना जीरा पाउडर
  • 5-6 पुदीने की पत्तियां (वैकल्पिक)
  • 1-2 बर्फ के टुकड़े (वैकल्पिक)

बनाने की विधि:

  1. एक बड़े गिलास में 3 बड़े चम्मच सत्तू डालें।
  2. गिलास में ठंडा पानी डालें और सत्तू को अच्छी तरह मिलाएं, ताकि कोई गांठ न रहे।
  3. इसमें नमक, भुना जीरा पाउडर, और नींबू का रस डालें।
  4. सारी सामग्री को अच्छी तरह मिलाएं।
  5. पुदीने की पत्तियां और बर्फ के टुकड़े डालकर ठंडा-ठंडा परोसें।

यह शरबत तुरंत ताजगी देता है और गर्मी में हाइड्रेशन के लिए बेहतरीन है।

2. मीठा सत्तू ड्रिंक

अगर आपको मीठा पसंद है, तो सत्तू से एक स्वादिष्ट मीठा ड्रिंक बनाया जा सकता है। यह बच्चों को भी बहुत पसंद आता है। इसे बनाने की विधि इस प्रकार है:

सामग्री:

  • 2 बड़े चम्मच सत्तू (मक्का या बिजड़े का सत्तू)
  • 1 गिलास ठंडा दूध (या पानी)
  • 1-2 छोटे चम्मच गुड़ (या शहद)
  • 1/4 छोटा चम्मच इलायची पाउडर
  • 4-5 कटे हुए बादाम (वैकल्पिक)
  • 1-2 बर्फ के टुकड़े (वैकल्पिक)

बनाने की विधि:

  1. एक गिलास में सत्तू डालें और उसमें थोड़ा सा ठंडा दूध डालकर अच्छी तरह मिलाएं, ताकि सत्तू घुल जाए।
  2. बाकी दूध डालें और अच्छी तरह मिलाएं।
  3. गुड़ या शहद डालें और इसे अच्छी तरह घोलें।
  4. इलायची पाउडर और कटे हुए बादाम डालें।
  5. बर्फ के टुकड़े डालकर ठंडा परोसें।

यह मीठा सत्तू ड्रिंक एक पौष्टिक और स्वादिष्ट नाश्ता हो सकता है।

3. सत्तू पराठा या लिट्टी

सत्तू का उपयोग पराठा या लिट्टी बनाने में भी किया जाता है। यह एक पारंपरिक व्यंजन है, जो बिहार और उत्तर प्रदेश में बहुत लोकप्रिय है। सत्तू पराठा बनाने की विधि इस प्रकार है:

एक महिला सत्तू पराठा बेलते हुए, जिसमें सत्तू की स्टफिंग दिख रहीहै ।

 पराठा बनाते समय स्टफिंग की प्रक्रिया, एक पारंपरिक और पौष्टिक व्यंजन।

सामग्री:

  • 1 कप सत्तू (बिजड़े का सत्तू)
  • 2 कप गेहूं का आटा
  • 1 छोटा प्याज (बारीक कटा हुआ)
  • 1 हरी मिर्च (बारीक कटी हुई)
  • 1/2 छोटा चम्मच अजवाइन
  • 1/2 छोटा चम्मच नमक (स्वादानुसार)
  • 1 बड़ा चम्मच घी (या तेल)
  • 2 बड़े चम्मच बारीक कटा हरा धनिया
  • पानी (आटा गूंथने के लिए)

बनाने की विधि:

1.

1.गेहूं के आटे में थोड़ा नमक और पानी डालकर नरम आटा गूंथ लें। इसे 15-20 मिनट के लिए ढककर रखें।

2.एक कटोरे में सत्तू लें। इसमें बारीक कटा प्याज, हरी मिर्च, अजवाइन, नमक, और हरा धनिया डालें।

3.थोड़ा सा पानी डालकर सत्तू का मिश्रण तैयार करें, जो न तो बहुत गीला हो और न ही बहुत सूखा।

4.आटे की छोटी-छोटी लोइयां बनाएं।

5.एक लोई लें, इसे थोड़ा बेलें, और बीच में 1-2 चम्मच सत्तू का मिश्रण रखें।

6.लोई को बंद करके हल्के हाथों से गोल बेल लें।

7.तवे पर घी या तेल लगाकर पराठा दोनों तरफ से सुनहरा होने तक सेंकें।

8.गर्मागर्म पराठा दही, अचार, या सब्जी के साथ परोसें।

यह सत्तू पराठा नाश्ते या दोपहर के भोजन के लिए एक पौष्टिक और स्वादिष्ट विकल्प है।

4. सत्तू की खीर

सत्तू से एक स्वादिष्ट और पौष्टिक खीर भी बनाई जा सकती है। यह एक मीठा व्यंजन है, जो बच्चों और बड़ों दोनों को पसंद आता है। सत्तू की खीर बनाने की विधि इस प्रकार है:

सामग्री:

1/2 कप सत्तू

1 लीटर दूध

1/2 कप चीनी (या स्वादानुसार)

1/4 छोटा चम्मच इलायची पाउडर

8-10 कटे हुए बादाम

8-10 कटे हुए काजू

8-10 किशमिश

1 बड़ा चम्मच घी

2-3 केसर के धागे (वैकल्पिक)

बनाने की विधि:

एक पैन में 1 बड़ा चम्मच घी गर्म करें। इसमें सत्तू डालें और धीमी आंच पर 3-4 मिनट तक भूनें, ताकि सत्तू की कच्ची महक चली जाए। भुनने के बाद सत्तू को एक प्लेट में निकाल लें।

उसी पैन में दूध डालें और मध्यम आंच पर उबालें। दूध को बार-बार चलाते रहें, ताकि वह पैन के तले में न चिपके।

जब दूध में उबाल आ जाए, तो आंच धीमी करें और भुना हुआ सत्तू धीरे-धीरे डालें। सत्तू डालते समय लगातार चलाएं, ताकि गांठें न पड़ें।

सत्तू को दूध में अच्छी तरह मिलाने के बाद चीनी डालें और मिश्रण को 5-7 मिनट तक पकाएं। खीर को गाढ़ा होने दें।

अब इसमें इलायची पाउडर, कटे हुए बादाम, काजू, किशमिश, और केसर के धागे डालें।

खीर को 2-3 मिनट और पकाएं, फिर आंच बंद कर दें।

खीर को ठंडा होने दें और इसे ठंडा या गर्म, जैसा आपको पसंद हो, परोसें।

सत्तू की खीर एक पौष्टिक और स्वादिष्ट मिठाई है, जो गर्मियों में हल्का और पचने में आसान होता है।

एक कटोरी में सत्तू की खीर बादाम, काजू, और केसर से सजाकर
सत्तू की खीर, बादाम और काजू से सजी - गर्मियों में एक पौष्टिक मिठाई।

सत्तू के सेवन के लिए सुझाव

स्टोरेज: सत्तू को सूखा और हवाबंद डिब्बे में रखें, ताकि यह खराब न हो।

डायबिटीज मरीज: मीठे सत्तू में गुड़ या चीनी की मात्रा कम करें।

रोज़ाना सेवन: गर्मियों में 1 गिलास सत्तू शरबत रोज़ पीने से ताजगी बनी रहती है।

वैरायटी: सत्तू को खीर, लड्डू या स्मूदी में भी आज़माएँ।

निष्कर्ष

सत्तू गर्मियों में एक वरदान है। यह न केवल शरीर को ठंडक और हाइड्रेशन देता है, बल्कि पोषक तत्वों से भरपूर होने के कारण स्वास्थ्य को भी बेहतर बनाता है। चाहे आप इसे शरबत के रूप में पिएँ या पराठा और लिट्टी के रूप में खाएँ, सत्तू हर रूप में स्वादिष्ट और फायदेमंद है। इस गर्मी, सत्तू को अपनी डाइट का हिस्सा बनाएँ और तरोताजा रहें।

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